गरुड़ कंस्ट्रक्शन एंड इंजीनियरिंग आईपीओ: प्राइस बैंड, जीएमपी, अलॉटमेंट और मुख्य जोखिमों की जानकारी
अक्तू॰ 8 2024 - व्यापार
जब आप शेयर, म्युचुअल फंड या कोई भी वित्तीय उत्पाद खरीदते हैं, तो आपका पैसा कुछ हद तक अनिश्चितता में रहता है। इस अनिश्चितता को ही बाजार जोखिम कहते हैं। आसान शब्दों में, अगर बाजार में अचानक गिरावट आती है तो आपका निवेश घट सकता है, यही जोखिम है।
बहुत से लोग सोचते हैं कि केवल बड़े निवेशकों को ही इस जोखिम का सामना करना पड़ता है, लेकिन असल में छोटे निवेशकों, साधारण बचत खातों तक में भी यह असर डाल सकता है। इसलिए पहले से ही इसे समझना और बचाव के उपाय अपनाना जरूरी है।
बाजार जोखिम के पीछे कई कारक होते हैं, लेकिन कुछ सबसे आम कारण हैं:
इन कारणों को अक्सर एक साथ देखना पड़ता है, इसलिए जोखिम को अकेले नहीं, बल्कि एक समग्र तस्वीर के रूप में समझना बेहतर रहता है।
अब बात करते हैं कि आप बाजार जोखिम को कैसे कम कर सकते हैं। सबसे पहला कदम है विविधीकरण – सभी पैसे को एक ही स्टॉक या सेक्टर में न डालें। म्युचुअल फंड, ETF या अलग‑अलग उद्योगों में निवेश करके आप जोखिम को बँटाते हैं।
दूसरा उपाय है समय-समय पर पोर्टफ़ोलियो रिव्यू करना। अगर कोई स्टॉक लगातार नीचे जा रहा है, तो उसे बेचने या कम करने पर विचार करें। यह सीखने में आसान है: जब बाजार गिरता है, तो अगर आपके पास कुछ सुरक्षित संपत्तियां हों, तो आप बिना घबराए आगे देख सकते हैं।
तीसरा टिप है स्ट्रॉप‑लॉस ऑर्डर सेट करना. यह एक स्वचालित आदेश है जो शेयर की कीमत एक निश्चित स्तर पर गिरने पर बेच देता है। इससे बड़े नुकसान से बचाव मिलता है।
चौथा, सूचना पर ध्यान दें. रोज़ाना एनालिसिस, आर्थिक कैलेंडर और समाचार पढ़ें। छोटी‑छोटी खबरें अक्सर बड़े बदलाव की पूर्व सूचना देती हैं।
अंत में, भावनाओं को काम करने न दें. बाजार में अचानक उछाल या गिरावट देख कर अफ़सोस या घबराहट में जल्दी‑जल्दी निर्णय लेना अक्सर नुकसान का कारण बनता है। ठंडे दिमाग से सोचें, लक्ष्य याद रखें, और दीर्घकालिक योजना पर टिके रहें।
बाजार जोखिम पर पूरी तरह का नियंत्रण नहीं है, लेकिन इन साधारण तरीकों से आप नुकसान को सीमित कर सकते हैं और अपने निवेश को लंबी अवधि में सुरक्षित रख सकते हैं। याद रखें, जोखिम को समझना निवेश की सफलता की पहली सीढ़ी है।
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